Saturday, April 4, 2015

इक़बाल ऑफिसर ने छोड़ा ग्रुप


मुम्बई:- आल इंडिया मेमन जमात फेडरेशन के बिना विरोध चुने गए सादर (President) के रूप में जनाब इक़बाल हामिद मेमन उर्फ़ इक़बाल ऑफिसर ने अपनी समुदाय के प्रति कार्यभार को समझते हुए और उसके लिए अति रुझान बताते हुए कुछ Whatsapp Groups से निष्कासन ले लिया है यह बताते हुए की सामाजिक कार्यो के लिये समय बहुत महत्वपूर्ण है उनके लिए, जो की सराहनीय बात है।
उनके स्वंय लिखित Whatsapp Messages इस प्रकार है,

मोअज्जीज़ बुजुर्गो, मेरे करमफरमाँ, हमनवाओं, और मेरे तमाम मोहसिन.

अस्सलामोअलैकुम,

मुसलसल कई बरसों से मुख्त़लिफ शक्लों में आप सभी की मुहब्बत से मैं फैज़याब हो रहा हूँ ।
आपके ईसी प्यार की रौशनी में मैने अपनी जिम्मेदारी के कई मराहील तय किए और आप के दिलों तक पहुँच पाया । 
कई बरसों से मुल्क़ और बैरूनी मुल्क़ के बेशुमार चाहने वालों ने अपने WhatsApp परिवार में  मुझे जगह दी है, अपने परिवार का अफराद माना ।
मैं इस बात का एतराफ करता हूँ के  WhatsApp में आपके ज़रीए Post होने वाले दिनी और दुनियावी मज़ामीन के समंदर से मैने कई बेशकीमती गौहर से अपने दामन को आरास्ता किया है ।
मैं जबसे आप के WhatsApp परिवार से वाबस्ता हुआ हुँ मेरी नाकीस मालुमात में अलहमदोलिल्लाह काफी इज़ाफा हुआ है ।

ऐ काश, कभी ऐसा भी हो के WhatsApp में शाया ये नसीहत आमेज़ कलेमात हमारे दिलों के साथ साथ हमारी ज़िंदगी में भी ऊतर जाए, हम सभी इसपर अमलपैराँ हो, ताकि हमारी ज़िंदगी और आखेरत सवंर जाए ।

आप सभी इस बात से वाकिफ है, के गुजिश्ता कई बरसों से मैं AIMJF के Vice President की शक्ल में न सिर्फ "मेमन कौम" की ख़िदमात के फराएज़ को अंजाम देते आया हूँ, बल्कि दिगर कौमों में भी आज मेरी कावीशों से "मेमन कौम" को एक नुमायाँ मकाम हासिल हुआ है और सियासी हलकों में भी हमें इज्ज़त की नज़र से देखा जाता है ।

अब आपकी बेपनाह मुहब्बत, और एतमाद ने मेरी जिम्मेदारीयों को और ज्यादा बढ़ा दिया है ।
आपने मुझे "AIMJF" का "सदर" मुंतख़ब कर मेरी जिम्मेदारीयों की गठरी को और ज़्यादा भारी कर दिया है।
अब मैं चाहता हूँ की मेरा ज़्यादा से ज़्यादा वक्त कौम के मसाएल पर गौर-ओ-फिक्र में गुज़रे, मेरा हर लम्हा पढने में नहीं बल्कि कौम के लिए कुछ करने में गुज़रे ।

लिहाजा बड़ी मआज़रत के साथ अर्ज कर रहा हूँ की मैं WhatsApp के तमाम Group से बड़े भारी मन के साथ अलग हो रहा हूँ,  ताकि मैं ज़्यादा से ज़्यादा वक्त कौम को, आपको और अपने वतन की ख़ातिर दे सकुँ ।
कौम की बेहतरी के लिए गर आप के पास कोई मशवरा है तो आप मेरे  Personal WhatsApp पर पोस्ट कर सकते हैं ।

फिर एक बार आप सभी के बेइंतेहा मुहब्बत का बहोत बहोत  शुक्रिया ।

ईकबाल मेमन ऑफिसर ...

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